Krishi Drone Benefits: कृषि में अब आधुनिक तकनीक का ज़माना आ गया है। किसान भाई अब पुराने तरीकों के साथ-साथ नई तकनीक को भी अपना रहे हैं। इससे खेती न सिर्फ आसान हो रही है, बल्कि खर्चा कम और मुनाफा ज्यादा हो रहा है। ऐसा ही एक कमाल का आविष्कार है कृषि ड्रोन, जो सिर्फ 7 मिनट में एक एकड़ जमीन पर छिड़काव कर देता है। पुण्यतिल तिघा मित्रानी ने कृषी उड़ान कंपनी के साथ मिलकर ऐसा अत्याधुनिक ड्रोन बनाया है, जो किसानों की मुश्किलें हल कर रहा है। आइए, इसके बारे में विस्तार से जानते हैं कि ये ड्रोन कैसे किसानों के लिए वरदान बन रहा है।
बारिश में छिड़काव की मुश्किल का हल
बारिश का मौसम आते ही किसानों के लिए फसलों पर दवा और खाद का छिड़काव करना जरूरी हो जाता है। पुराने तरीकों से ये काम करने में वक्त भी लगता है और खर्चा भी ज्यादा होता है। इस परेशानी को देखते हुए पुण्यतिल कृषि कॉलेज के कुछ दोस्तों – हृषिकेश राणे, विशाल पाटिल, सारंग माने और प्रणव राजपूत – ने मिलकर कृषी उड़ान स्टार्टअप शुरू किया। इन्होंने एक खास ड्रोन डिज़ाइन किया, जो सिर्फ 7 मिनट में एक एकड़ जमीन पर छिड़काव कर देता है। हृषिकेश राणे बताते हैं कि ये ड्रोन कम समय, कम पानी और कम खर्च में काम करता है, जिससे किसानों को बड़ा फायदा हो रहा है।
ड्रोन की खासियत
कृषी उड़ान ड्रोन में कई खास बातें हैं, जो इसे किसानों के लिए खास बनाती हैं। इस ड्रोन में 6 मोटरें लगी हैं, जो इसे ताकतवर बनाती हैं। हाथ में रिमोट कंट्रोल होने की वजह से इसे कहीं भी और किसी भी ऊँचाई पर आसानी से भेजा जा सकता है। इसमें 10 लीटर की टंकी है, जिससे एक बार में अच्छा खासा छिड़काव हो जाता है।
सबसे बड़ी बात, ये ड्रोन एक दिन में 30 से 40 एकड़ जमीन पर छिड़काव कर सकता है। ये पारंपरिक तरीकों से कई गुना तेज़ है। ये ड्रोन 300 से 400 फीट की ऊँचाई तक उड़ सकता है और एक जगह से 2 किलोमीटर दूर तक संदेश भेज सकता है। यानी इसे दूर बैठकर भी चलाया जा सकता है।
कीमत और पायलट लाइसेंस की बात
इस ड्रोन की कीमत 3.5 लाख रुपये से ज्यादा है। इसे चलाने के लिए पायलट लाइसेंस की भी जरूरत पड़ती है, जिसके लिए अलग से खर्च करना होता है। हृषिकेश राणे बताते हैं कि सरकार भी किसानों की मदद के लिए आगे आई है। MahaDBT पोर्टल पर आवेदन करके इस ड्रोन के लिए अनुदान लिया जा सकता है। ये सुविधा किसानों के लिए बड़ी राहत है, क्योंकि इससे शुरुआती खर्च कम हो जाता है। कृषी उड़ान स्टार्टअप पिछले 3 साल से काम कर रहा है और इसका मुख्य कार्यालय अंधेरी में है। राज्य सरकार भी चाहती है कि किसानों तक ऐसे आधुनिक उपकरण पहुँचें।
किसानों को कैसे फायदा?
कृषि ड्रोन के इस्तेमाल से किसानों को कई तरह के फायदे हो रहे हैं। सबसे पहले, ये समय बचाता है। जहाँ पहले एक एकड़ पर छिड़काव करने में घंटों लगते थे, अब वो काम 7 मिनट में हो जाता है। दूसरा, ये पानी की बचत करता है। पारंपरिक तरीके में ढेर सारा पानी लगता था, लेकिन ड्रोन से कम पानी में काम हो जाता है। तीसरा, खर्चा कम होता है। मज़दूरी और ज्यादा दवा की जरूरत नहीं पड़ती। चौथा, इससे फसल की सेहत बेहतर होती है, क्योंकि छिड़काव एकसमान और सटीक होता है। हृषिकेश राणे कहते हैं कि ये ड्रोन किसानों की मेहनत को सही मायने में फल दे रहा है।
कृषि का भविष्य तकनीक से तरक्की
कृषी उड़ान ड्रोन जैसी तकनीक खेती को नई ऊँचाइयों पर ले जा रही है। ये न सिर्फ किसानों का वक्त और पैसा बचाता है, बल्कि फसल की पैदावार भी बढ़ाता है। 30 से 40 एकड़ रोज़ छिड़काव करने की ताकत इसे बड़े किसानों के लिए भी फायदेमंद बनाती है। सरकार का अनुदान और स्टार्टअप की मेहनत इसे हर किसान तक पहुँचाने की कोशिश है। आने वाले दिनों में ऐसी तकनीक खेती को और आसान और लाभदायक बना सकती है।
ये भी पढ़ें- अगर किसान ये 5 फायदे जान लें, तो बिना ड्रोन के खेती नहीं करेंगे