चने के कीमतों में गिरावट का दौर शुरू, इतना मिल रहा भाव, जाने इन मंडियों के रेट

Chana Mandi Rate: मध्य प्रदेश के बाद अब महाराष्ट्र और कर्नाटक में भी चने की कीमतों में गिरावट देखने को मिल रही है। इसकी मुख्य वजह नई फसल की आवक और चने का बढ़ता आयात है। साथ ही, पिछले साल आयात की गई पीली मटर का बचा हुआ स्टॉक भी दाम गिरने का एक बड़ा कारण बना हुआ है।

क्यों गिर रही है चने की कीमत?

कर्नाटक और महाराष्ट्र की मंडियों में देसी चने की नई उपज की आवक शुरू हो चुकी है। इससे बाजार में चने की उपलब्धता बढ़ गई है और कीमतों में गिरावट आ रही है। इस समय कर्नाटक में चना 5,500 से 6,300 रुपये प्रति क्विंटल के बीच बिक रहा है। सरकार ने इस साल 2024-25 के लिए चना का न्यूनतम समर्थन मूल्य (MSP) 5,650 रुपये प्रति क्विंटल तय किया है, जो पिछले साल 5,440 रुपये था। अनुमान है कि आने वाले दिनों में फसल की आवक बढ़ने से कीमतें और कम हो सकती हैं।

आयात और पीली मटर का असर

घरेलू उत्पादन और बढ़ते आयात की वजह से चना की कीमतों पर दबाव बना हुआ है। साथ ही, पिछले साल आयात की गई पीली मटर का स्टॉक बचा होने के कारण भी बाजार में चने की मांग कम हो गई है। कर्नाटक के कलबुर्गी, बीदर और यादगीर की मंडियों में नई उपज 5,500 से 6,000 रुपये प्रति क्विंटल में खरीदी जा रही है।

महाराष्ट्र और मध्य प्रदेश में चने का भाव

  • महाराष्ट्र – अकोला और लातूर में 6,000 से 6,400 रुपये प्रति क्विंटल पर चने की बिक्री हो रही है। उदगीर और धुधानी की मंडियों में MSP के आसपास 5,500 से 5,800 रुपये प्रति क्विंटल का भाव मिल रहा है।
  • मध्य प्रदेश – यहां पुरानी चने की फसल 5,000 रुपये प्रति क्विंटल तक पहुंच चुकी है, जो MSP से भी काफी नीचे है।

कीमतों में गिरावट को देखते हुए सरकार ने कर्नाटक में मूल्य समर्थन योजना (PSS) के तहत 96,498 टन चने की खरीद को मंजूरी दी है। इससे किसानों को कुछ राहत मिल सकती है।

चना फसल का रकबा बढ़ा

केंद्रीय कृषि एवं किसान कल्याण मंत्रालय के अनुसार, इस साल रबी सीजन 2024-25 में दलहन फसलों का रकबा 2.3 प्रतिशत बढ़कर 142.49 लाख हेक्टेयर हो गया है। वहीं, चना फसल के क्षेत्रफल में 2.8 प्रतिशत की बढ़ोतरी दर्ज की गई है। पिछले साल चने की बुवाई 95.87 लाख हेक्टेयर में हुई थी, जो इस बार बढ़कर 98.55 लाख हेक्टेयर हो गई है

चना के आयात में भारी उछाल

‘बिजनेसलाइन’ की रिपोर्ट के अनुसार, 2024 में जनवरी से नवंबर के बीच चने के आयात में 93 प्रतिशत की भारी बढ़ोतरी दर्ज की गई है। इस दौरान 2.32 लाख टन चना आयात किया गया, जबकि 2023 में इसी अवधि में यह आंकड़ा 1.19 लाख टन था।

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  • Shashikant

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