Banda rain havoc: उत्तर प्रदेश के बांदा जिले में बारिश ने चारों ओर तबाही मचा दी है। एक तरफ नदियां उफान पर हैं, तो दूसरी तरफ आकाशीय बिजली की मार से लोगों की जिंदगियां छिन रही हैं। बबेरू कोतवाली क्षेत्र में खेतों में काम कर रहे दो किसानों की आकाशीय बिजली गिरने से दर्दनाक मौत हो गई। घटना की सूचना मिलते ही पुलिस और राजस्व विभाग मौके पर पहुंचा, शवों को कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम के लिए भेजा गया, और पीड़ित परिवारों को सहायता की प्रक्रिया शुरू की गई। इस खबर ने बरसात के मौसम में किसानों की असुरक्षा को उजागर किया है।
बिजली की चपेट में आए लवलेश और माया
दुखद घटना बबेरू कोतवाली क्षेत्र के भदेहदु और कुचेंदू गांवों में हुई। भदेहदु गांव के 24 वर्षीय लवलेश धान की बेड की रखवाली कर रहे थे, जब अचानक तेज बारिश शुरू हुई। बारिश से बचने के लिए वे एक पेड़ के नीचे बैठ गए, लेकिन कुछ ही पल में आकाशीय बिजली गिरी, जिससे वे गंभीर रूप से घायल हो गए। परिजनों ने उन्हें तुरंत सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र (CHC) पहुंचाया, जहां डॉक्टरों ने उन्हें मृत घोषित कर दिया। इसी तरह, कुचेंदू गांव की 32 वर्षीय माया अपनी खेतों में खेती का काम कर रही थीं। बारिश के दौरान वे भी बिजली की चपेट में आ गईं, और उनकी मौके पर ही मौत हो गई। पुलिस ने दोनों शवों को कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम के लिए भेजा और जांच शुरू की।
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प्रशासन का त्वरित कदम, परिवारों को सहायता का वादा
एडीएम वित्त राजस्व राजेश कुमार ने घटना की पुष्टि करते हुए बताया, “बबेरू तहसील क्षेत्र में आकाशीय बिजली गिरने से एक महिला और एक पुरुष की दुखद मौत हुई है। शवों को पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया गया है। मृतकों के परिवारों को दैवीय आपदा के तहत सहायता राशि दी जाएगी, और जिला प्रशासन पीड़ितों के साथ कंधे से कंधा मिलाकर खड़ा है।” बांदा जिला प्रशासन ने प्रभावित परिवारों को 4 लाख रुपये की अनुग्रह राशि और अन्य राहत सामग्री देने की घोषणा की है, जो जल्द वितरित की जाएगी। मौके पर पहुंचे राजस्व अधिकारियों ने परिवारों से सहानुभूति जताई और कानूनी प्रक्रिया को तेज करने का आश्वासन दिया।
बारिश और बिजली का कहर, किसानों के लिए चेतावनी
बांदा में पिछले हफ्ते से लगातार बारिश हो रही है, जिससे नदियां खतरे के निशान के करीब बह रही हैं और खेतों में जलभराव की समस्या बढ़ गई है। मौसम विभाग ने अगले 48 घंटों के लिए भारी बारिश और बिजली गिरने की चेतावनी जारी की है। इस बीच, आकाशीय बिजली से होने वाली मौतों का सिलसिला यूपी के अलावा बिहार और झारखंड में भी जारी है। बीते एक हफ्ते में इन राज्यों में धान की रोपाई के दौरान कई किसानों और मजदूरों की जान चली गई। कृषि विभाग ने सलाह दी है कि किसान तेज बारिश और बिजली गिरने की स्थिति में खेतों में काम न करें, खासकर पेड़ों या ऊंची जगहों से दूर रहें। बरसात के इस मौसम में सुरक्षा के लिए जागरूकता अभियान भी शुरू किया गया है।
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किसानों की सुरक्षा और भविष्य की राह
बांदा की इस घटना ने एक बार फिर किसानों की असुरक्षा को उजागर किया है। बरसात के मौसम में धान की रोपाई का पीक समय चल रहा है, लेकिन प्राकृतिक आपदाओं से बचाव के साधन सीमित हैं। जिला प्रशासन ने ग्रामीणों को सस्ते दर पर तिरपाल और सुरक्षित शेल्टर उपलब्ध कराने की योजना बनाई है। साथ ही, मौसम पूर्वानुमान और सतर्कता के लिए मोबाइल अलर्ट सिस्टम शुरू करने की बात कही गई है। सरकार ने दावा किया है कि दैवीय आपदा से निपटने के लिए राहत कोष और बीमा योजनाओं को मजबूत किया जाएगा, ताकि भविष्य में ऐसे हादसों से प्रभावित परिवारों को तुरंत मदद मिल सके।
उत्तर प्रदेश के बांदा में बारिश का कहर जारी है, और आकाशीय बिजली से दो किसानों की मौत ने हर किसी को झकझोर दिया है। लवलेश और माया की दर्दनाक मौतें किसानों की जिंदगी की कठिनाइयों को दर्शाती हैं। प्रशासन राहत कार्यों में जुटा है, लेकिन जरूरत है जागरूकता और सुरक्षा उपायों को बढ़ाने की। बरसात के इस मौसम में किसानों की सुरक्षा सुनिश्चित करना सरकार और समाज की प्राथमिकता होनी चाहिए।
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