मध्य प्रदेश सरकार किसानों को कम समय और कम लागत में ज्यादा पैदावार के लिए प्रोत्साहित कर रही है। इसके लिए कृषि यंत्रों के उपयोग को बढ़ावा देने हेतु स्मार्ट सीडर, सुपर सीडर, और हैप्पी सीडर जैसे आधुनिक यंत्रों पर 50% तक सब्सिडी दी जा रही है। ये यंत्र फसल अवशेष प्रबंधन और बुआई में मदद करते हैं, जिससे खेती की लागत कम होती है और मिट्टी की उर्वरता बढ़ती है। मध्य प्रदेश के कृषि अभियांत्रिकी विभाग ने इसके लिए ई-कृषि यंत्र अनुदान पोर्टल पर 21 जुलाई 2025 तक आवेदन मांगे हैं। लॉटरी 22 जुलाई 2025 को निकाली जाएगी। आइए, योजना की खासियत, आवेदन प्रक्रिया, और जरूरी दस्तावेजों के बारे में जानें।
योजना की खासियत और सब्सिडी
मध्य प्रदेश कृषि यंत्र अनुदान योजना 2025 के तहत किसानों को स्मार्ट सीडर, सुपर सीडर, और हैप्पी सीडर जैसे यंत्रों पर 40-50% सब्सिडी मिलेगी। अनुसूचित जाति, अनुसूचित जनजाति, लघु, सीमांत, और महिला किसानों को 50% तक अनुदान मिलेगा, जबकि सामान्य वर्ग के किसानों को 40% तक।
इन यंत्रों से फसल अवशेषों को खेत में ही खाद में बदला जा सकता है, जिससे मिट्टी की सेहत सुधरती है और पैदावार बढ़ती है। किसान ई-कृषि यंत्र अनुदान पोर्टल (farmer.mpdage.org) पर उपलब्ध सब्सिडी कैलकुलेटर से यंत्र की लागत और अनुदान राशि की जानकारी ले सकते हैं। ये यंत्र खरीफ फसलों की बुआई और अवशेष प्रबंधन में कारगर हैं, जिससे समय और लागत की बचत होती है।
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आवेदन प्रक्रिया
किसानों को सब्सिडी का लाभ लेने के लिए ई-कृषि यंत्र अनुदान पोर्टल पर ऑनलाइन आवेदन करना होगा। पंजीकृत किसान आधार OTP के जरिए लॉगिन कर 21 जुलाई 2025 तक आवेदन जमा कर सकते हैं। नए किसानों को पहले एमपी ऑनलाइन या नजदीकी सीएससी सेंटर पर बायोमेट्रिक आधार सत्यापन के साथ पंजीकरण कराना होगा।
आवेदन के साथ 4,500 रुपये का डिमांड ड्राफ्ट (DD) जमा करना अनिवार्य है, जो जिले के सहायक कृषि यंत्री के नाम से स्वयं के बैंक खाते से बनवाना होगा। डीडी की स्कैन कॉपी पोर्टल पर अपलोड करें। कम राशि का डीडी या बिना डीडी के आवेदन अमान्य होंगे। लॉटरी में चयन के बाद 7 दिनों के भीतर दस्तावेजों का भौतिक सत्यापन होगा।
आवश्यक दस्तावेज
आवेदन और सत्यापन के लिए कुछ जरूरी दस्तावेज चाहिए। आधार कार्ड की कॉपी, आधार से लिंक मोबाइल नंबर (जिस पर OTP और सूचनाएँ आएँगी), बैंक पासबुक के पहले पेज की छायाप्रति, खसरा/खतौनी या बी-1 की नकल, और ट्रैक्टर का रजिस्ट्रेशन कार्ड (यदि लागू हो) तैयार रखें। डिमांड ड्राफ्ट की स्कैन कॉपी भी अपलोड करनी होगी।
अगर किसान अनुसूचित जाति, जनजाति, या पिछड़ा वर्ग से है, तो जाति प्रमाण पत्र भी जमा करें। ये दस्तावेज लॉटरी के बाद सत्यापन के समय काम आएँगे। पात्रता के लिए किसान को पिछले 5 वर्षों में उक्त यंत्रों पर अनुदान नहीं लिया होना चाहिए।
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योजना का लाभ और पात्रता
यह योजना मध्य प्रदेश के मूल निवासी किसानों के लिए है, जिनके पास स्वयं की जमीन हो। जिन किसानों ने पिछले 7 वर्षों में सिंचाई उपकरणों पर अनुदान लिया है, वे पात्र नहीं होंगे। लॉटरी के जरिए चयनित किसानों को ही अनुदान मिलेगा। चयन के बाद डीलर के माध्यम से यंत्र खरीदें और बिल, दस्तावेज पोर्टल पर अपलोड करें। भुगतान चेक, ड्राफ्ट, या ऑनलाइन बैंकिंग से करें; नकद भुगतान मान्य नहीं होगा। सत्यापन में यंत्र और दस्तावेज सही पाए जाने पर अनुदान सीधे बैंक खाते में आएगा।
किसान भाइयों, 21 जुलाई 2025 तक ई-कृषि यंत्र अनुदान पोर्टल (farmer.mpdage.org) पर आवेदन करें। डीडी बनवाने से पहले अपने जिले के सहायक कृषि यंत्री का नाम जाँच लें। पंजीकरण और आवेदन में मदद के लिए नजदीकी सीएससी सेंटर या जिला कृषि कार्यालय से संपर्क करें। हेल्पलाइन नंबर 0755-4935001 पर भी जानकारी ले सकते हैं। सही दस्तावेज और समय पर आवेदन से आप स्मार्ट सीडर, सुपर सीडर, या हैप्पी सीडर पर 50% तक सब्सिडी पा सकते हैं। यह योजना आपकी खेती को आसान और लाभकारी बनाएगी।
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