UP Weather Update: सर्दी की दस्तक ने उत्तर प्रदेश के मैदानों को हिला दिया है, जहां कानपुर जैसे शहरों में न्यूनतम तापमान 7.8 डिग्री सेल्सियस तक लुढ़क गया। भारतीय मौसम विभाग (IMD) के ताजा अपडेट के मुताबिक, 17 नवंबर को राज्य में सामान्य से नीचे तापमान दर्ज किया गया है, जो दिसंबर-जनवरी वाली कड़ाके की ठंड का संकेत दे रहा है। पश्चिमी और पूर्वी यूपी में हल्का से मध्यम कोहरा छाया रहेगा, जो यातायात और खेती दोनों के लिए चुनौती पैदा कर सकता है। हालांकि, अधिकतम तापमान में कोई खास बदलाव नहीं होगा, लेकिन न्यूनतम तापमान अगले 48 घंटों में 2 डिग्री तक बढ़ सकता है। किसान भाई सतर्क रहें, क्योंकि इस शुरुआती ठंड से रबी फसलों की बुवाई प्रभावित हो सकती है।
तापमान में गिरावट
IMD के आंकड़ों से साफ है कि राज्य में न्यूनतम तापमान सामान्य से काफी नीचे है। कानपुर में 7.8 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया, जो इस सीजन का सबसे कम है। बरेली में 8.5 डिग्री (सामान्य से 5.9 डिग्री नीचे), इटावा में 8.4 डिग्री, पीलीभीत, फुरसतगंज और अयोध्या में 9.5 डिग्री, मेरठ में 8.8 डिग्री तथा बुलंदशहर में 9.5 डिग्री रहा। लखनऊ में न्यूनतम 11.2 डिग्री और अधिकतम 28.4 डिग्री सेल्सियस दर्ज हुआ। अधिकतम तापमान अगले 3-4 दिनों में स्थिर रहेगा, लेकिन न्यूनतम में हल्की बढ़ोतरी संभव है। यह शुरुआती ठंड का संकेत है, जो आमतौर पर दिसंबर में आती है।
पश्चिमी और पूर्वी यूपी में हल्का-मध्यम कोहरा
17 नवंबर को पश्चिमी और पूर्वी यूपी के कई जिलों में हल्का से मध्यम कोहरा छाया रहेगा। IMD ने मथुरा, मेरठ, आगरा, कन्नौज, इटावा, मैनपुरी, फिरोजाबाद, कानपुर, ललितपुर, ओरई, फर्रुखाबाद, उन्नाव, हरदोई, सीतापुर, बहराइच, शाहजहांपुर, कौशांबी, प्रयागराज, वाराणसी, मिर्जापुर, सोनभद्र, पीलीभीत, आजमगढ़, रामपुर, बरेली, शामली तथा सहारनपुर में कोहरे की चेतावनी जारी की है। कोहरा सुबह के समय ज्यादा रहेगा, जो दृश्यता घटाकर सड़क हादसों का खतरा बढ़ा सकता है। हालांकि, कोल्ड वेव का कोई अलर्ट नहीं है, लेकिन हल्की उत्तर-पश्चिमी हवाएं चल रही हैं।
अगले 3-5 दिनों का पूर्वानुमान
IMD के मुताबिक, 18 से 20 नवंबर तक पश्चिमी और पूर्वी यूपी में शुष्क मौसम रहेगा, बिना किसी अलर्ट के। 21-22 नवंबर को आकाश मुख्यतः साफ रहेगा। अधिकतम तापमान स्थिर रहेगा, जबकि न्यूनतम तापमान सामान्य से नीचे ही रहेगा। कोई सक्रिय मौसमी सिस्टम नहीं है, इसलिए बारिश या तूफान की संभावना शून्य है। हल्की उत्तर-पश्चिमी हवाओं से ठंडक बढ़ेगी, लेकिन अगले 48 घंटों में न्यूनतम तापमान में 2 डिग्री की हल्की बढ़ोतरी हो सकती है।
किसानों पर असर
यह शुरुआती ठंड रबी फसलों जैसे गेहूं, सरसों और चने की बुवाई को प्रभावित कर सकती है। कोहरा और कम तापमान से बीज अंकुरण धीमा हो जाता है, जबकि पाला पड़ने का खतरा बढ़ जाता है। IMD ने सीधे कृषि सलाह नहीं दी, लेकिन विशेषज्ञों की मानें तो किसान भाई निम्नलिखित उपाय अपनाएं: गेहूं की बुवाई 20 नवंबर तक पूरी करें, बीज को गर्म पानी में डुबोएं। सरसों या चने के खेतों को पॉलीथीन शीट से ढकें ताकि पाला न लगे। सिंचाई कम रखें, लेकिन मिट्टी में नमी बनाए रखें। जीरो टिलेज तकनीक से समय बचाएं। अगर कोहरा ज्यादा हो तो स्प्रिंकलर से हल्का पानी छिड़कें। इनसे नुकसान 50-60 प्रतिशत तक रोका जा सकता है।
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